हिमाचल दस्तक ब्यूरो। शिमला
काफी लंबे समय से प्रदेश के पैट, पैरा और पीटीए शिक्षकों की नियमितीकरण की लटकी फाइल जयराम सरकार ने दोबारा खोल दी है। जानकारी के मुताबिक सुप्रीम कोर्ट में चल रहे केस को लेकर प्रदेश सरकार संबंधित केस से जुड़े अधिकारियों के साथ चर्चा करने वाली है।
इसमें यह देखा जाना है कि आखिर प्रदेश में पक्की नियुक्ति की राह ताक
रहे इन सात हजार शिक्षकों के लिए कोई रास्ता निकल आए। इसके लिए जल्द ही
विधि विभाग के साथ प्रदेश सरकार की बैठक होने वाली है। इसमें सुप्रीम कोर्ट
के अभी तक आए फैसलों पर गौर करते हुए शिक्षकों के लिए पक्की नियुक्ति का
दरवाजा खोलने की कोशिश की जा रही है।
इसके लिए सुप्रीम कोर्ट ने रास्ते उस समय भी खुले रखे थे। उधर, पैट टीचर्स एसोसिएशन के अध्यक्ष नारायण सिंह हिमराल का कहना है कि चुनाव के दौरान भी भाजपा सरकार से ये आग्रह किया गया है कि उनकी पक्की नियुक्ति का रास्ता साफ किया जाए। जानकारी के मुताबिक प्राथमिक सहायक अध्यापकों यानी पैट को पूर्व सरकार ने पक्की नियुक्ति के आदेश दे दिए थे।
ये आदेश आनन-फानन में दिए गए। इसके बाद अन्य शिक्षक संघों ने ही सुप्रीम कोर्ट की दलील देकर पूर्व सरकार के सामने मामला उठाया। इसके बाद शिक्षकों के पक्की नियुक्ति के आदेश वापस लिए गए। बताया जा रहा है कि इसे भी विधि विभाग के साथ विचार-विमर्श किया जाना है।
काफी लंबे समय से प्रदेश के पैट, पैरा और पीटीए शिक्षकों की नियमितीकरण की लटकी फाइल जयराम सरकार ने दोबारा खोल दी है। जानकारी के मुताबिक सुप्रीम कोर्ट में चल रहे केस को लेकर प्रदेश सरकार संबंधित केस से जुड़े अधिकारियों के साथ चर्चा करने वाली है।
केस सुप्रीम कोर्ट में जरूर है, लेकिन सरकार इसको लेकर सकारात्मक कदम उठा सकती है
हालांकि पूर्व सरकार द्वारा लेफ्ट आउट पीटीए शिक्षकों को अनुबंध शिक्षकों के बराबर वेतनमान कर दिया गया है, लेकिन सभी शिक्षकों ने प्रदेश सरकार से ये उम्मीद जताई है कि उनके लिए सुप्रीम कोर्ट में चल रहे केस के सामने जयराम सरकार कोई तोड़ निकाल पाएगी। पीटीए शिक्षकों की पक्की नियुक्ति के लिए काफी लंबे समय से लड़ाई लड़ रहे संघ के अध्यक्ष विवेक मेहता का कहना है कि केस सुप्रीम कोर्ट में जरूर है, लेकिन सरकार इसको लेकर सकारात्मक कदम उठा सकती है।इसके लिए सुप्रीम कोर्ट ने रास्ते उस समय भी खुले रखे थे। उधर, पैट टीचर्स एसोसिएशन के अध्यक्ष नारायण सिंह हिमराल का कहना है कि चुनाव के दौरान भी भाजपा सरकार से ये आग्रह किया गया है कि उनकी पक्की नियुक्ति का रास्ता साफ किया जाए। जानकारी के मुताबिक प्राथमिक सहायक अध्यापकों यानी पैट को पूर्व सरकार ने पक्की नियुक्ति के आदेश दे दिए थे।
ये आदेश आनन-फानन में दिए गए। इसके बाद अन्य शिक्षक संघों ने ही सुप्रीम कोर्ट की दलील देकर पूर्व सरकार के सामने मामला उठाया। इसके बाद शिक्षकों के पक्की नियुक्ति के आदेश वापस लिए गए। बताया जा रहा है कि इसे भी विधि विभाग के साथ विचार-विमर्श किया जाना है।