हिमाचलके 831 शिक्षकों को एनआईआेएस की आेर से शुक्रवार को बड़ी राहत दी है।
जिन शिक्षकों ने डीएलएड का नामंकन का अभी तक सत्यापन नहीं करवाया था,
उन्हें 15 दिन का अतिरिक्त समय मिल गया है, हालांकि पहले यह तिथि वीरवार को
समाप्त हो गई थी।
इससे शिक्षकों को भारी परेशानी का सामना करना पड़ रहा था। अब डिप्लोमा इन एलीमेंटरी एजूकेशन के लिए नामांकन करवा चुके अप्रशिक्षित शिक्षकों सत्यापन 15 दिसंबर तक करवा सकेंगे।
एनआईओएस ने शुक्रवार को सत्यापन की तारीख बढ़ाकर प्रदेश के 861 अप्रशिक्षित शिक्षकों को बड़ी राहत दी है। इन्हें आवेदन को प्रिंसिपल से सत्यापित करवाना था, इसके बाद ही आवेदन को सही माना जाता था, लेकिन अधिकतर शिक्षकों को आवेदन के लिए कम समय मिलने के कारण भारी परेशानी का सामना करना पड़ रहा था। एक तरफ शिक्षकों की नौकरी की तलवार लटकी थी, वहीं दूसरी तरफ शिक्षकों के आवेदनों को सत्यापित नहीं किया जा रहा था। ंइस कारण इन शिक्षकों की नौकरी खतरे में पड़ गई थी।
स्कूल प्रिंसिपलों को ऑनलाइन ही अप्रशिक्षित शिक्षकों का सत्यापन करना है। सत्यापन होने के बाद ही इन शिक्षकों का डीएलएड के लिए किया गया नामांकन मान्य होगा। एनआईओएस ने सत्यापन करने के लिए 30 नवंबर यानि वीरवार को अंतिम तिथि तय की थी। अभी तक राज्य के 861 शिक्षकों का तय तारीख तक प्रिंसिपलों ने सत्यापन नहीं हो पाया था। ऐसे में इन शिक्षकों की नौकरी पर संकट गहराने लगा था। अब सत्यापन की तारीख बढऩे से इन शिक्षकों को 15 दिन का अतिरिक्त समय मिल गया है।
प्राइमरी कक्षाएं पढ़ाने को अनिवार्य है डीएलएड
प्राइमरीकक्षाएं पढ़ाने के लिए केंद्र सरकार ने डीएलएड करना अनिवार्यï किया है। 31 मार्च 2019 के बाद सरकारी और निजी स्कूलों में डीएलएड किए बिना कोई भी शिक्षक प्राथमिक कक्षाओं को नहीं पढ़ा सकेगा। यह व्यवस्था सरकारी स्कूलों के साथ निजी स्कूलों में भी लागू होनी है। इसलिए इस बार इस कोर्स को करने वालों की संख्या काफी ज्यादा है। नियमों में साफ है कि जो इसे नहीं कर पाएंगे, उनकी नौकरी भी खतरे में पड़ सकती है।
2019 के बाद इस कोर्स के बगैर है शिक्षकों की नौकरी पर खतरा, 861 शिक्षकों को बड़ी राहत
इससे शिक्षकों को भारी परेशानी का सामना करना पड़ रहा था। अब डिप्लोमा इन एलीमेंटरी एजूकेशन के लिए नामांकन करवा चुके अप्रशिक्षित शिक्षकों सत्यापन 15 दिसंबर तक करवा सकेंगे।
एनआईओएस ने शुक्रवार को सत्यापन की तारीख बढ़ाकर प्रदेश के 861 अप्रशिक्षित शिक्षकों को बड़ी राहत दी है। इन्हें आवेदन को प्रिंसिपल से सत्यापित करवाना था, इसके बाद ही आवेदन को सही माना जाता था, लेकिन अधिकतर शिक्षकों को आवेदन के लिए कम समय मिलने के कारण भारी परेशानी का सामना करना पड़ रहा था। एक तरफ शिक्षकों की नौकरी की तलवार लटकी थी, वहीं दूसरी तरफ शिक्षकों के आवेदनों को सत्यापित नहीं किया जा रहा था। ंइस कारण इन शिक्षकों की नौकरी खतरे में पड़ गई थी।
स्कूल प्रिंसिपलों को ऑनलाइन ही अप्रशिक्षित शिक्षकों का सत्यापन करना है। सत्यापन होने के बाद ही इन शिक्षकों का डीएलएड के लिए किया गया नामांकन मान्य होगा। एनआईओएस ने सत्यापन करने के लिए 30 नवंबर यानि वीरवार को अंतिम तिथि तय की थी। अभी तक राज्य के 861 शिक्षकों का तय तारीख तक प्रिंसिपलों ने सत्यापन नहीं हो पाया था। ऐसे में इन शिक्षकों की नौकरी पर संकट गहराने लगा था। अब सत्यापन की तारीख बढऩे से इन शिक्षकों को 15 दिन का अतिरिक्त समय मिल गया है।
प्राइमरी कक्षाएं पढ़ाने को अनिवार्य है डीएलएड
प्राइमरीकक्षाएं पढ़ाने के लिए केंद्र सरकार ने डीएलएड करना अनिवार्यï किया है। 31 मार्च 2019 के बाद सरकारी और निजी स्कूलों में डीएलएड किए बिना कोई भी शिक्षक प्राथमिक कक्षाओं को नहीं पढ़ा सकेगा। यह व्यवस्था सरकारी स्कूलों के साथ निजी स्कूलों में भी लागू होनी है। इसलिए इस बार इस कोर्स को करने वालों की संख्या काफी ज्यादा है। नियमों में साफ है कि जो इसे नहीं कर पाएंगे, उनकी नौकरी भी खतरे में पड़ सकती है।
2019 के बाद इस कोर्स के बगैर है शिक्षकों की नौकरी पर खतरा, 861 शिक्षकों को बड़ी राहत