धर्मशाला [राजेंद्र डोगरा]: दसवीं और बारहवीं की
वार्षिक परीक्षाओं के दौरान रद हुए पेपरों से हिमाचल प्रदेश स्कूल शिक्षा
बोर्ड को हुए लाखों के नुकसान की भरपाई अब शिक्षकों को करनी होगी। इस संबंध
में स्कूल शिक्षा बोर्ड मामला निदेशक मंडल की बैठक में लाएगा और
गैरजिम्मेदाराना ड्यूटी बरतने वाले शिक्षको से रिकवरी किए जाने का भी
प्रस्ताव लाएगा। यही नहीं बोर्ड मामले को सरकार व शिक्षा विभाग के निदेशालय
में भी उठाएगा।
इस बार दसवीं व बारहवीं की वार्षिक परीक्षाओं के दौरान करीब पांच विषयों की परीक्षाओं को स्कूल शिक्षा बोर्ड को छात्र हित में रद करना पड़ा है। सबसे पहले 12 मार्च को किन्नौर के निचार परीक्षा केंद्र में रात को प्रश्नपत्र चोरी होने पर जमा दो कक्षा के भौतिक विज्ञान व आइटी विषयों की परीक्षा को रद करना पड़ा। इसके बाद शिमला के कुपवी व चंबा के भरमौर में दसवीं के गणित व जमा दो के राजनीतिक शास्त्र विषय की परीक्षा के दौरान नियमित परीक्षार्थियो को एसओएस जबकि एसओएस परीक्षार्थियों को नियमित के प्रश्नपत्र गलत आवंटन पर इन दोनों ही परीक्षाओं को रद किया गया और अब एसओएस की जमा दो कक्षा के लोक प्रशासन विषय की परीक्षा को इसलिए रद करने के लिए मजबूर होना पड़ा, क्योंकि विद्यार्थियों की शिकायत के बाद हुई जांच में 85 अंक की परीक्षा में 75 के प्रश्न ही सिलेबस से बाहर पाए गए।
इस वर्ष की वार्षिक परीक्षाओं में पांच विषयों की परीक्षाओं को रद किया गया है। इसमें जमा दो की चार जबकि एक दसवीं की परीक्षा है। इससे स्कूल शिक्षा बोर्ड को लाखों रुपये का नुकसान हुआ है और अब बोर्ड भी इस मामले में गैर जिम्मेदाराना ड्यूटी करने वाले शिक्षको से रिकवरी करेगा।
जमा दो के चार जबकि एक दसवी कक्षा के विषय की परीक्षा रद की गई है और इससे बोर्ड को लाखों रुपये का नुकसान हुआ है। नुकसान की भरपाई के लिए अब बोर्ड रिकवरी का मामला निदेशक मंडल की बैठक में लेकर जाएगा। सरकार व संबंधित विभाग के निदेशालय से भी मामला उठाया जाएगा। यही शिक्षक चुनाव ड्यूटी भी करते है, लेकिन उस समय कोई गलती नहीं दोहराते जबकि वार्षिक परीक्षाओ में ही क्यों गलती होती है। भविष्य में इस प्रकार की गलतियां न दोहराई जाएं, इसीलिए यह कदम उठाया जाएगा।'-डॉ. विशाल शर्मा, सचिव स्कूल शिक्षा बोर्ड
इस बार दसवीं व बारहवीं की वार्षिक परीक्षाओं के दौरान करीब पांच विषयों की परीक्षाओं को स्कूल शिक्षा बोर्ड को छात्र हित में रद करना पड़ा है। सबसे पहले 12 मार्च को किन्नौर के निचार परीक्षा केंद्र में रात को प्रश्नपत्र चोरी होने पर जमा दो कक्षा के भौतिक विज्ञान व आइटी विषयों की परीक्षा को रद करना पड़ा। इसके बाद शिमला के कुपवी व चंबा के भरमौर में दसवीं के गणित व जमा दो के राजनीतिक शास्त्र विषय की परीक्षा के दौरान नियमित परीक्षार्थियो को एसओएस जबकि एसओएस परीक्षार्थियों को नियमित के प्रश्नपत्र गलत आवंटन पर इन दोनों ही परीक्षाओं को रद किया गया और अब एसओएस की जमा दो कक्षा के लोक प्रशासन विषय की परीक्षा को इसलिए रद करने के लिए मजबूर होना पड़ा, क्योंकि विद्यार्थियों की शिकायत के बाद हुई जांच में 85 अंक की परीक्षा में 75 के प्रश्न ही सिलेबस से बाहर पाए गए।
इस वर्ष की वार्षिक परीक्षाओं में पांच विषयों की परीक्षाओं को रद किया गया है। इसमें जमा दो की चार जबकि एक दसवीं की परीक्षा है। इससे स्कूल शिक्षा बोर्ड को लाखों रुपये का नुकसान हुआ है और अब बोर्ड भी इस मामले में गैर जिम्मेदाराना ड्यूटी करने वाले शिक्षको से रिकवरी करेगा।
जमा दो के चार जबकि एक दसवी कक्षा के विषय की परीक्षा रद की गई है और इससे बोर्ड को लाखों रुपये का नुकसान हुआ है। नुकसान की भरपाई के लिए अब बोर्ड रिकवरी का मामला निदेशक मंडल की बैठक में लेकर जाएगा। सरकार व संबंधित विभाग के निदेशालय से भी मामला उठाया जाएगा। यही शिक्षक चुनाव ड्यूटी भी करते है, लेकिन उस समय कोई गलती नहीं दोहराते जबकि वार्षिक परीक्षाओ में ही क्यों गलती होती है। भविष्य में इस प्रकार की गलतियां न दोहराई जाएं, इसीलिए यह कदम उठाया जाएगा।'-डॉ. विशाल शर्मा, सचिव स्कूल शिक्षा बोर्ड