संवाद सहयोगी, सुंदरनगर : राजकीय प्राथमिक शिक्षक संघ की बैठक सुंदरनगर
में हुई, इसमें संघ ने विद्या उपासकों पर डीएलएड करने की अनिवार्यता का
विरोध किया।
पीटीएफ सुंदरनगर-दो के वरिष्ठ उपाध्यक्ष कुलभूषण ठाकुर ने कहा कि यदि विभाग द्वारा इस निर्देश को वापस न लिया गया। तो संघ आंदोलन करने पर मजबूर होगा। उन्होंने कहा कि प्राथमिक शिक्षक संघ प्रारंभिक शिक्षा विभाग की ओर से अक्टूबर में जारी आदेश की कड़ी ¨नदा करता है। इसमें अगस्त 2011 को नियमित किए जा चुके ग्रामीण विद्या उपासक और विद्या उपासकों को एनआइओएस से दो वर्षीय डिप्लोमा करने बारे कहा गया है।
उन्होंने कहा कि ग्रामीण विद्या उपासक और विद्या उपासक 2001 की पॉलिसी के तहत भर्ती किए गए थे और उन्हें पांच वर्ष में नियमित करने को कहा गया था। लेकिन वे दो वर्ष का प्रशिक्षण प्राप्त करने के बाद वर्ष 2011 में नियमित हुए हैं। ऐसे अध्यापकों को दोबारा दो वर्षीय डिप्लोमा करने के आदेश देना सरासर गलत है। उन्होंने कहा कि इनमें से कुछ अध्यापक नियमित होने के बाद पदोन्नत भी हो चुके हैं। संघ ने कहा कि एक तरफ तो सरकार अध्यापकों को डाइट से दो वर्षीय प्रशिक्षण देकर नियमित कर रही है। ऊपर से दोबारा प्रशिक्षण करने के आदेश थोप रही है। इस प्रकार का कोई नियम नहीं है कि एक बार नियमित हो चुके अध्यापकों को दोबारा नियमित किया जाए।
उन्होंने कहा कि अध्यापक अपने कार्यकाल में बहुत से प्रशिक्षण शिविर लगाते हैं। यदि शिक्षा की गुणवत्ता के लिए कोई प्रशिक्षण प्राप्त करना है, तो वे करेंगे। लेकिन दोबारा नियमित होने के लिए डिप्लोमा नहीं करेंगे।
इस अवसर पर राजकीय प्राथमिक शिक्षक संघ सुंदरनगर के प्रधान राम ¨सह राव, सुंदरनगर-दो के प्रधान बाबू राम, साईगलु से जोध ¨सह, चौतड़ा-दो से करतार ¨सह, गोपालपुर-दो से हरिराम, जोंगेद्रनगर-एक से अतुल, गोपालपुर-एक से अशोक शर्मा, धर्मपुर-दो से नेक राम, करसोग-एक से विनोद सेन, पुष्प राज, चच्योट वन से हेम राज ठाकुर और मंडी सदर से ललित शर्मा मौजूद रहे।
पीटीएफ सुंदरनगर-दो के वरिष्ठ उपाध्यक्ष कुलभूषण ठाकुर ने कहा कि यदि विभाग द्वारा इस निर्देश को वापस न लिया गया। तो संघ आंदोलन करने पर मजबूर होगा। उन्होंने कहा कि प्राथमिक शिक्षक संघ प्रारंभिक शिक्षा विभाग की ओर से अक्टूबर में जारी आदेश की कड़ी ¨नदा करता है। इसमें अगस्त 2011 को नियमित किए जा चुके ग्रामीण विद्या उपासक और विद्या उपासकों को एनआइओएस से दो वर्षीय डिप्लोमा करने बारे कहा गया है।
उन्होंने कहा कि ग्रामीण विद्या उपासक और विद्या उपासक 2001 की पॉलिसी के तहत भर्ती किए गए थे और उन्हें पांच वर्ष में नियमित करने को कहा गया था। लेकिन वे दो वर्ष का प्रशिक्षण प्राप्त करने के बाद वर्ष 2011 में नियमित हुए हैं। ऐसे अध्यापकों को दोबारा दो वर्षीय डिप्लोमा करने के आदेश देना सरासर गलत है। उन्होंने कहा कि इनमें से कुछ अध्यापक नियमित होने के बाद पदोन्नत भी हो चुके हैं। संघ ने कहा कि एक तरफ तो सरकार अध्यापकों को डाइट से दो वर्षीय प्रशिक्षण देकर नियमित कर रही है। ऊपर से दोबारा प्रशिक्षण करने के आदेश थोप रही है। इस प्रकार का कोई नियम नहीं है कि एक बार नियमित हो चुके अध्यापकों को दोबारा नियमित किया जाए।
उन्होंने कहा कि अध्यापक अपने कार्यकाल में बहुत से प्रशिक्षण शिविर लगाते हैं। यदि शिक्षा की गुणवत्ता के लिए कोई प्रशिक्षण प्राप्त करना है, तो वे करेंगे। लेकिन दोबारा नियमित होने के लिए डिप्लोमा नहीं करेंगे।
इस अवसर पर राजकीय प्राथमिक शिक्षक संघ सुंदरनगर के प्रधान राम ¨सह राव, सुंदरनगर-दो के प्रधान बाबू राम, साईगलु से जोध ¨सह, चौतड़ा-दो से करतार ¨सह, गोपालपुर-दो से हरिराम, जोंगेद्रनगर-एक से अतुल, गोपालपुर-एक से अशोक शर्मा, धर्मपुर-दो से नेक राम, करसोग-एक से विनोद सेन, पुष्प राज, चच्योट वन से हेम राज ठाकुर और मंडी सदर से ललित शर्मा मौजूद रहे।