सीमा कश्यप, शिमला राजनीतिक कशमकश में हिमाचल प्रदेश विश्वविद्यालय शिमला की शिक्षक भर्ती
पिस गई है। हिमाचल के प्रमुख राजनीतिक दलों के जोड़ तोड़ में विश्वविद्यालय
की झोली में नए शिक्षकों की नियुक्ति नहीं आ रही है। लिहाजा विभिन्न
विभागों में करीब 62 असिस्टेंट प्रोफेसर की ताजपोशी अब तक लटकी हुई है।
अत्यधिक राजनीतिक हस्तक्षेप के कारण अभ्यर्थियों के अतिरिक्त विद्यार्थी भी प्रभावित हो रहे हैं। उक्त भर्तियों में से तीन साल पहले हुई भर्ती प्रक्रिया में अनियमितताएं सामने आने के बाद उच्च न्यायालय की रोक लगी सो अलग मगर बीते वर्ष 19 असिस्टेंट पदों के लिए हुए साक्षात्कार भी किसी नतीजे पर नहीं पहुंचे हैं। सूत्रों के मुताबिक इस साक्षात्कार में शामिल अभ्यर्थियों में एक विशेष राजनीतिक विचारधारा के लोग अधिक हैं। दूसरा राजनीतिक दल यह नहीं चाहता कि अपनी सत्ता में भी वो कहीं पीछे रह जाए। ऐसे में जब वर्ष 2012 में हुए साक्षात्कार में भी एक विशेष राजनीतिक विचारधारा के लोग बताए जा रहे हैं। नतीजा यह निकला कि न तो साक्षात्कार देने वालों को नियुक्ति मिल पा रही है और न ही विद्यार्थियों को शिक्षक। बहरहाल स्थिति यह है कि हिमाचल प्रदेश विश्वविद्यालय में 211 पद रिक्त चल रहे हैं। समाजशास्त्र, ¨हदी जैसे विभाग एक प्रोफेसर के सहारे ही टिके हैं।
ये हुआ था 2012 की भर्ती में विवाद
विधानसभा चुनाव से ठीक पहले वित्त वर्ष 2011-12 में 37 असिस्टेंट प्रोफेसर के पदों के लिए साक्षात्कार हुए थे। इनमें चार अभ्यर्थी ऐसे थे जिनका नेट उत्तीर्ण नहीं था। इस कारण एक पक्ष ने मामले पर उच्च न्यायालय में याचिका दायर की जिसके बाद इस भर्ती प्रक्रिया पर रोक लगी। करीब सात माह पहले कोर्ट ने विश्वविद्यालय को नेट की अनिवार्यता बताते हुए यूजीसी गाइडलाइन्स का पालन करने के सख्त निर्देश दिए हैं।
यह है नियम..
यूजीसी की गाइडलाइन्स में स्पष्ट है कि विश्वविद्यालय में असिस्टेंट व एसोसिएट प्रोफेसर व प्रोफेसर लगने के लिए नेट/सेट अनिवार्य है।
अब ये होने जा रहा है
हिमाचल प्रदेश विश्वविद्यालय में शिक्षक भर्ती के लिए नेट, सेट की अनिवार्यता हटाने व वर्ष 2009 के पहले के पीएचडी को तरजीह देने पर विचार चल रहा है। दो माह पहले हरियाणा राज्य में विश्वविद्यालय में शिक्षक लगने के लिए नेट, सेट की शर्त हटाई गई थी। इसी तर्ज पर हिमाचल विवि में भी शिक्षक भर्ती की संभावनाएं तलाशने के लिए प्रशासन ने कमेटी बनाई है। सूत्रों के मुताबिक हरियाणा की तर्ज पर बिना नेट, सेट के हिमाचल विश्वविद्यालय में भी प्रशासन शिक्षक भर्ती करने की तैयारी में है।
साक्षात्कार के लिफाफे जल्द खोलने का प्रयास
विवि को शिक्षकों की जरूरत है। मैं तो चाहता हूं कि जल्द से जल्द साक्षात्कार के लिफाफे खुलें जिसके लिए प्रयास किए जा रहे हैं। इस प्रक्रिया से 62 शिक्षक विश्वविद्यालय को मिलेंगे।
- प्रो. एडीएन वाजपेयी, कुलपति, हिमाचल प्रदेश विश्वविद्यालय।
सरकारी नौकरी - Army /Bank /CPSU /Defence /Faculty /Non-teaching /Police /PSC /Special recruitment drive /SSC /Stenographer /Teaching Jobs /Trainee / UPSC
अत्यधिक राजनीतिक हस्तक्षेप के कारण अभ्यर्थियों के अतिरिक्त विद्यार्थी भी प्रभावित हो रहे हैं। उक्त भर्तियों में से तीन साल पहले हुई भर्ती प्रक्रिया में अनियमितताएं सामने आने के बाद उच्च न्यायालय की रोक लगी सो अलग मगर बीते वर्ष 19 असिस्टेंट पदों के लिए हुए साक्षात्कार भी किसी नतीजे पर नहीं पहुंचे हैं। सूत्रों के मुताबिक इस साक्षात्कार में शामिल अभ्यर्थियों में एक विशेष राजनीतिक विचारधारा के लोग अधिक हैं। दूसरा राजनीतिक दल यह नहीं चाहता कि अपनी सत्ता में भी वो कहीं पीछे रह जाए। ऐसे में जब वर्ष 2012 में हुए साक्षात्कार में भी एक विशेष राजनीतिक विचारधारा के लोग बताए जा रहे हैं। नतीजा यह निकला कि न तो साक्षात्कार देने वालों को नियुक्ति मिल पा रही है और न ही विद्यार्थियों को शिक्षक। बहरहाल स्थिति यह है कि हिमाचल प्रदेश विश्वविद्यालय में 211 पद रिक्त चल रहे हैं। समाजशास्त्र, ¨हदी जैसे विभाग एक प्रोफेसर के सहारे ही टिके हैं।
ये हुआ था 2012 की भर्ती में विवाद
विधानसभा चुनाव से ठीक पहले वित्त वर्ष 2011-12 में 37 असिस्टेंट प्रोफेसर के पदों के लिए साक्षात्कार हुए थे। इनमें चार अभ्यर्थी ऐसे थे जिनका नेट उत्तीर्ण नहीं था। इस कारण एक पक्ष ने मामले पर उच्च न्यायालय में याचिका दायर की जिसके बाद इस भर्ती प्रक्रिया पर रोक लगी। करीब सात माह पहले कोर्ट ने विश्वविद्यालय को नेट की अनिवार्यता बताते हुए यूजीसी गाइडलाइन्स का पालन करने के सख्त निर्देश दिए हैं।
यह है नियम..
यूजीसी की गाइडलाइन्स में स्पष्ट है कि विश्वविद्यालय में असिस्टेंट व एसोसिएट प्रोफेसर व प्रोफेसर लगने के लिए नेट/सेट अनिवार्य है।
अब ये होने जा रहा है
हिमाचल प्रदेश विश्वविद्यालय में शिक्षक भर्ती के लिए नेट, सेट की अनिवार्यता हटाने व वर्ष 2009 के पहले के पीएचडी को तरजीह देने पर विचार चल रहा है। दो माह पहले हरियाणा राज्य में विश्वविद्यालय में शिक्षक लगने के लिए नेट, सेट की शर्त हटाई गई थी। इसी तर्ज पर हिमाचल विवि में भी शिक्षक भर्ती की संभावनाएं तलाशने के लिए प्रशासन ने कमेटी बनाई है। सूत्रों के मुताबिक हरियाणा की तर्ज पर बिना नेट, सेट के हिमाचल विश्वविद्यालय में भी प्रशासन शिक्षक भर्ती करने की तैयारी में है।
साक्षात्कार के लिफाफे जल्द खोलने का प्रयास
विवि को शिक्षकों की जरूरत है। मैं तो चाहता हूं कि जल्द से जल्द साक्षात्कार के लिफाफे खुलें जिसके लिए प्रयास किए जा रहे हैं। इस प्रक्रिया से 62 शिक्षक विश्वविद्यालय को मिलेंगे।
- प्रो. एडीएन वाजपेयी, कुलपति, हिमाचल प्रदेश विश्वविद्यालय।
सरकारी नौकरी - Army /Bank /CPSU /Defence /Faculty /Non-teaching /Police /PSC /Special recruitment drive /SSC /Stenographer /Teaching Jobs /Trainee / UPSC